हम सभी शारीरिक स्वच्छता के लिए खाने से पहले अपने हाथ धुलाई करते हैं, रोजाना सुबह स्नान करते हैं, साफ कपड़े पहनते हैं वेसे डिजिटल युग में अगर हमें शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ रहना है तो डिजिटल स्वच्छता अपनाने की जरूरत है। मोबाईल के उपयोग के बाद हमे उसमें कैद नहीं होना है बल्कि उससे बाहर निकलना है । हमें अभिमन्यु नहीं बनना चाहिए जो चक्रव्यूह के अंदर तो घुस गए पर निकल नहीं पाए बल्कि हमें अर्जुन की तरह बनना है जो घुसकर निकलना भी जानते है ।